Friday, March 29, 2024
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सनसनीखेज खुलासा: शादीशुदा औरतों को ऐसे फंसाती थी,शीरीन हुसैन मुल्ली

उज्जैन में लोगों को नौकरी दिलाने के झांसे में फंसाकर उनसे लाखों ऐंठने वाली शिरीन हुसैन (Shirin Husain) की गिरफ्तारी के बाद बड़ा खुलासा हुआ है. बताया जा रहा है कि हिंदुओं के इलाकों में वह पर्चे बांटती थी. वह घरेलू हिंसा (Domestic Violence) की शिकार महिलाओं को शिकायत के लिए उकसाती थी. जैसे ही कोई पीड़ित महिला उसके पास पहुंचती थी वह तुरंत आरोपी के परिवार को ब्लैकमेल करना शुरू कर देती थी.

सिर्फ इतना ही नहीं बल्कि वह अधेड़ और बुजुर्ग अमीरों को उनकी शादी कराने का लालच देती थी. शादी कराकर लड़कियों से उल्टा उन पर FIR दर्ज करवाकर पैसे ऐंठती थी. जांच में ये भी पता चला है कि वह हिंदू लड़कियों (Hindu Girl) को शादी के लिए मुस्लिम लड़कों से मिलवाती थी. पुलिस (MP Police) इन सभी मामलों की जांच कर रही है.

शिरीन के घर से मिले संदिग्ध डॉक्युमेंट्स

शिरीन हुसैन को गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने रविवार को उसे कोर्ट में पेश किया था. जिसके बाद कोर्ट ने उसे तीन दिन की पुलिस रिमांड पर भेज दिया. उसकी गिरफ्तारी शनिवार को नागझिरी इलाके में उसके घर से हुई थी. पुलिस को शिरीन के घर से कई संदिग्ध डॉक्युमेंट्स भी मिले हैं. वह खुद को ट्रस्ट का महासचिव कहा करती थी. खबर के मुताबिक उसे पहले ही बर्खास्त कर दिया गया था.

शिरीन हुसैन घरेलू हिंसा की शिकार महिलाओं को अपना निशाना बनाती थी. इसके लिए वह अखबारों में पर्चे डलवाती थी. शिकायत लेने वाली महिला का केस स्टडी करने के बहाने वह आरोपी पक्ष को ब्लैकमेल किया करती थी. वह लगातार न्यूज पेपर्स में छपी ऐसी खबरों पर पैनी निगाह रखती थी, जिनमें पुलिस ने FIR दर्ज नहीं की हो. यह ममाले महिला उत्पीड़न, जमीनी विवाद, घरेलू हिंसा, मजदूरों का शोषण से जुड़े होते थे.

अमीरों की शादी कराकर ऐंठती थी पैसे

ठग शिरीन बड़े-बड़े नेताओं और अफसरों से मिलकर उन्हें फूल और बुके देते हुए फोटो खिंचवाती थी. उन फोटो को सोशल मीडिया पर वायरल कर खुद को रसूखदार बताने की कोशिश करती थी. इसके जरिए भी वह पैसे कमाती थी. शिरीन के गिरोह में शामिल एक शख्स ने पुलिस के सामने खुलासा किया है कि वह अमीर गैरशादीशुदा लोगों को भी अपना निशाना बनाती थी. वह अपने एनजीओ की सुंदर लड़कियों से पहले तो उन लोगों की शादी करवाती और फिर उन्हें केस में फंसवा देती थी. शिरीन ब्लैकमेल करके उन लोगों से घर और दुकान की ऑरिजनल रजिस्ट्री अपने पास रखवा लेती थी.

45 साल की शिरीन हुसैन ने नौकरी के नाम पर करीब तीन दर्जन युवाओं से रुपये ऐंठे थे. शिरीन ने 30 लोगों से 60-60 हजार रुपये लेकर उन्हे नियुक्ति पत्र और पहचान पत्र भी जारी किए थे. इसी के अलावा शिरीन ने शहर में कई लोगों से पैसे ले रखे हैं. जो उसने वापस नहीं किए. आरोपी महिला खुद को ह्यूमन राइट्स संस्था का राष्ट्रीय महासचिव बताती थी. और इसी में नौकरी दिलाने के लिए लोगों से पैसे वसूलती थी.

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